रविवार, 13 अगस्त 2017

Insaaf Ki Dagar Pe, Bachchon Dikhaao Chal Ke - Lyrics

Insaaf Ki Dagar Pe, Bachchon Dikhaao Chal Ke
इन्साफ़ की डगर पे, बच्चों दिखाओ चल के

Songs Info:
Lyricist गीतकार : शकील बदायुंनी
Singer गायक  : हेमंत कुमार 
Film फिल्म : गंगा जमुना
इन्साफ़ की डगर पे, बच्चों दिखाओ चल के
ये देश है तुम्हारा, नेता तुम्हीं हो कल के
इन्साफ़ की डगर पे, बच्चों दिखाओ चल के
ये देश है तुम्हारा, नेता तुम्हीं हो कल के


दुनिया के रंज सहना और कुछ न मुँह से कहना

दुनिया के रंज सहना और कुछ न मुँह से कहना
सच्चाइयों के बल पे आगे को बढ़ते रहना

सच्चाइयों के बल पे आगे को बढ़ते रहना
रख दोगे एक दिन तुम संसार को बदल के

रख दोगे एक दिन तुम संसार को बदल के
इन्साफ़ की डगर पे, बच्चों दिखाओ चल के
ये देश है तुम्हारा, नेता तुम्हीं हो कल के

अपने हों या पराए सबके लिये हो न्याय

अपने हों या पराए सबके लिये हो न्याय
देखो कदम तुम्हारा हरगिज़ न डगमगाए

देखो कदम तुम्हारा हरगिज़ न डगमगाए
रस्ते बड़े कठिन हैं चलना सम्भल-सम्भल के

रस्ते बड़े कठिन हैं चलना सम्भल-सम्भल के
इन्साफ़ की डगर पे, बच्चों दिखाओ चल के
ये देश है तुम्हारा, नेता तुम्हीं हो कल के.

इन्सानियत के सर पर इज़्ज़त का ताज रखना

इन्सानियत के सर पर इज़्ज़त का ताज रखना
तन मन की भेंट देकर भारत की लाज रखना

तन मन की भेंट देकर भारत की लाज रखना
जीवन नया मिलेगा अंतिम चिता में जल के,

जीवन नया मिलेगा अंतिम चिता में जल के,
इन्साफ़ की डगर पे, बच्चों दिखाओ चल के
ये देश है तुम्हारा, नेता तुम्हीं हो कल के.

इन्साफ़ की डगर पे, बच्चों दिखाओ चल के
ये देश है तुम्हारा, नेता तुम्हीं हो कल के.

insaaf-ki-dagar-pe

Lyrics in English
Insaaf kii dagar pe, bachchon dikhaao chal ke
ye desh hai tumhaaraa, netaa tumhiin ho kal ke

Insaaf kii dagar pe, bachchon dikhaao chal ke
ye desh hai tumhaaraa, netaa tumhiin ho kal ke

 
duniyaa ke ranj sahanaa aur kuchh na munh se kahanaa
sachchaaiyon ke bal pe aage ko badhate rahanaa
rakh doge ek din tum sansaar ko badal ke
Insaaf kii dagar pe, bachchon dikhaao chal ke
ye desh hai tumhaaraa, netaa tumhiin ho kal ke

 
apane hon yaa paraae sabake liye ho nyaaye
dekho kadam tumhaaraa haragiz na dagamagaae
raste bade kathin hain chalanaa sambhal-sambhal ke
Insaaf kii dagar pe, bachchon dikhaao chal ke
ye desh hai tumhaaraa, netaa tumhiin ho kal ke

 
insaaniyat ke sar par izzat kaa taaj rakhanaa
tan man kii bhent dekar bhaarat kii laaj rakhanaa
jiivan nayaa milegaa antim chitaa men jal ke,
Insaaf kii dagar pe, bachchon dikhaao chal ke
ye desh hai tumhaaraa, netaa tumhiin ho kal ke


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